देहरादून: हिंदू महिलाओं का प्रमुख त्योहार करवा चौथ इस साल 20 अक्टूबर, रविवार को मनाया जाएगा। सुहागिन महिलाएं अपने पति की लंबी उम्र और सुखी वैवाहिक जीवन के लिए इस दिन निर्जला व्रत रखती हैं।
सरगी का समय:
* सरगी की रस्म करवा चौथ व्रत शुरू करने से पहले की जाती है।
* सरगी सूर्योदय से लगभग 2 घंटे पहले खाई जाती है।
* 20 अक्टूबर को सूर्योदय सुबह 6:25 बजे होने के कारण, महिलाएं इससे पहले सरगी खा सकती हैं।
* सरगी में फल, मिठाइयां, मेवे, खीर और कम तली भुनी चीजें शामिल होती हैं।
* यह रस्म सास द्वारा अपनी बहू को आशीर्वाद देने के रूप में की जाती है।
पूजा का शुभ मुहूर्त:
* करवा चौथ की पूजा का शुभ मुहूर्त शाम 5:46 बजे से लेकर 7:02 बजे तक रहेगा।
* चंद्रोदय का समय शाम 7:54 बजे है।
* चंद्र दर्शन के बाद व्रती महिलाएं अपना व्रत तोड़ती हैं।
करवा चौथ का महत्व:
* करवा चौथ का व्रत पति-पत्नी के बीच प्रेम और विश्वास को मजबूत बनाने का प्रतीक है।
* इस दिन महिलाएं अपने पति की लंबी उम्र और सुखी जीवन की कामना करती हैं।
* यह त्योहार पारिवारिक एकता और सौहार्द का प्रतीक है।
अन्य महत्वपूर्ण बातें:
* करवा चौथ का व्रत निर्जला रखा जाता है।
* व्रत के दौरान महिलाएं पूरे दिन उपवास रहती हैं और केवल चंद्रमा को अर्घ्य देने के बाद ही भोजन करती हैं।
* करवा चौथ के दिन महिलाएं विशेष श्रृंगार करती हैं और नए कपड़े पहनती हैं।
* इस दिन महिलाएं एक-दूसरे को उपहार देती हैं।
करवा चौथ 2024: सरगी का समय, पूजा का मुहूर्त और अन्य महत्वपूर्ण जानकारी
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