हरिद्वार

40 साल बाद भी नहीं मिला भूमिधरी का अधिकार: मंजीत खरोला

प्रधान ने बुलाई भूमिधरी को लेकर बैठक, विचार विमर्श हुआ

हरिद्वार। आर्दश टिहरी नगर भाग एक के प्रधान मंजीत खरोला ने भूमिधरी के अधिकार को लेकर एक बैठक बुलाई। जिसमें लगभग 40 वर्ष पूर्व टिहरी से विस्थापित किए गए लोगों को हरिद्वार ग्रामीण क्षेत्र पथरी में आर्दश टिहरी नगर में बसाया गया था। पर अभी तक कोई अधिकार नहीं मिल पाया। जिस पर सभी मौजिज लोग एवं समाजसेवी से लेकर जनप्रतिनिधियों ने अपने अपने विचार रखे। दरअसल आर्दश टिहरी नगर के विस्थापित लगभग 440 परिवारों को 40 साल बाद भी भूमिधरी का अधिकार नहीं मिला है। क्षेत्र की सड़कों का बुरा हाल है। दशकों से सड़कों का पुनर्निर्माण नहीं हुआ है। यातायात के लिए सुलभ ट्रांसपोर्ट सुविधा नहीं है। जंगली जानवर खेतीबाड़ी उजाड़ रहे हैं। वर्ष 1982 में टिहरी बांध परियोजना के अंतर्गत 436 विस्थापित परिवारों को यहां बसाया गया। जिसमें उनके द्वारा देश हित में अपनी पैतृक जन्मभूमि को छोड़ना पड़ा था। सभी चार भागों में बसे विस्थापित परिवारों को उस वक्त क्षेत्र की भौगोलिक स्थिति की जानकारी नहीं थी। उनके लिए एकदम नई और गर्म जगह थी। बावजूद परिवारों ने मेहनत के दम पर खेतीबाड़ी आबाद की। व्यवसाय शुरू किया। स्थानीय लोगों से मेलजोल बढ़ाया और उनके सुखदुख के साथी बन गए। हर समस्या का डटकर मुकाबला किया। लेकिन सरकार और जनप्रतिनिधियों ने हमेशा उनकी उपेक्षा की। जिससे क्षेत्र के लोगों में आक्रोश है।विस्थापितों को 40 साल हो गए हैं। अभी तक भूमिधरी का अधिकार नहीं मिला है। जिससे विस्थापितों को भूमि पर बैंकों से खेती के लिए ऋण नहीं मिलता है। विस्थापितों के लिए यह एक गंभीर समस्या है। सरकार को इस समस्या का समाधान करना चाहिए। वहीं पूर्व चेयरमैन सहकारी समिति एवं उत्तराखण्ड राज्य के आंदोलकारी रहे हुकम सिंह रावत ने अपने संबोधन में कहा की यदि सभी लोग एक एक साथ एक मंच पर इक्कठा नही हुए तो न जाने आगे और कितना समय और कितनी पीढियां भूमिधरी के अधिकार को लेने में समाप्त हो जाएंगी। वहीं दूसरी ओर महावीर रावत ने अपनी बात को मंच से रखते हुए बताया कि भूमिधरी के लिए लगातार लंबे समय से वार्ताओं का दौर चल रहा है किंतु अभी तक मामला लटका हुआ है साथ ही उन्होंने कहा कि यदि सरकार हमे हमारा अधिकार नहीं दे सकती तो आने वाले 2024 के चुनाव में किसी भी पार्टी के आदमियों को आदर्श टिहरी नगर में नहीं घुसने दिया जाएगा। इसके पश्चात समाज सेवी एवं भूमिधरी के लिए लगातार प्रयासरत रहने वाले महावीर सिंह खरोला ने अपनी बात रखते हुए कहा कि सरकार से बात करने के लिए एक समिति का गठन किया जाएगा जिसमें वर्तमान के चुने हुए जनप्रतिनिधि एवं पूर्व में रहें जनप्रतिनिधि भी रखे जायेंगे। भूमिधरी से जुड़ी प्रत्येक बात को सभी के समन्वय से सरकार तक पहुंचाएंगे। बैठक के अंत में वर्तमान ग्राम प्रधान मंजीत सिंह खरोला ने सभी का बैठक में आने के लिए आभार जताते हुए कहा कि यह अधिकार मुझ अकेले का नही आप सभी का है और मैं अपना तन मन और जरूरत पड़ी तो धन लगाकर आप सभी के हित की लड़ाई लड़ने का कार्य करूंगा। इस बैठक के दौरान महावीर सिंह रावत चेयरमैन सहकारी समिति, महावीर सिंह खरोला समाज सेवी, गब्बर सिंह पूर्व उप प्रधान, सोहन सिंह चौहान पूर्व चेयरमैन सहकारी समिति, हुकम सिंह रावत पूर्व चेयरमैन सहकारी समिति एवं राज्य आंदोलनकारी, यजुवीर सिंह रावत उप ग्राम प्रधान, मनोज खोला, मस्ती सिंह गुसाईं, संजय रावत, सीमा रावत ग्राम पंचायत सदस्य, पूजा नौटियाल ग्राम पंचायत सदस्य, मुकेश लाल, रवि खरोला के साथ सैकड़ों लोग उपस्थित रहे।

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