मुख्यमंत्री बोले- कमेटी ने 2.33 लाख लोगों से सुझाव लेने के साथ विभिन्न संगठनों की भी राय जानी
देहरादून। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा है कि उत्तराखंड में समान नागरिक संहिता इसी वर्ष लागू कर दी जाएगी। उन्होंने कहा कि प्रदेश में सरकार के गठन के बाद हमने पहला निर्णय इस संबंध में कमेटी बनाने का किया था। इस कमेटी ने 2.33 लाख लोगों से सुझाव लेने के साथ विभिन्न संगठनों, संस्थाओं और तमाम जनजातियों की भी राय जानी।
आईएसबीटी के पास होटल में हुए एक कार्यक्रम में सीएम ने कहा कि वर्ष 2022 के विधानसभा चुनाव में भाजपा ने समान नागरिक संहिता के संबंध में जनता से वादा किया था। देश में समान नागरिक कानून होना चाहिए। यह जनता की मांग रही है और इसकी शुरुआत उत्तराखंड से होगी। सीएम ने कहा कि संवैधानिक व्यवस्थाओं के तहत राज्य में समान नागरिक संहिता कानून इसी साल लागू करेंगे।
सीएम ने कहा कि उत्तराखंड में धर्मांतरण घुन की तरह लगा था। धोखे से और लालच देकर धर्मांतरण को अंजाम दिया जा रहा था। देवभूमि का मूल स्वरूप बनाए रखने के लिए इसे रोकना जरूरी था। उत्तराखंड शांत प्रदेश है। यहां अच्छी कानून व्यवस्था है। यहां तमाम लोग बिना वेरिफिकेशन से अवैध रूप से बस रहे हैं। इससे हो रहे डेमोग्राफिक चेंज को देखना भी जरूरी है। सीएम ने कहा, प्रदेश में अतिक्रमण हटाने में कोई पक्षपात नहीं हो रहा है। कोई भी किसी मजहब, जाति, धर्म, पंथ का हो, सबके साथ समान व्यवहार किया जाता है। सीएम ने कहा कि प्रदेश की विषम भौगोलिक परिस्थितियां विकास में बाधा नहीं बनें, सरकार इसे ध्यान में रखते हुए पहाड़ और मैदानी क्षेत्र की परिस्थितियों के अनुसार नीतियां बना रही है।