नई दिल्ली: देश की राजधानी समेत उत्तर भारत में बढ़ते वायु प्रदूषण के बीच एक नए अध्ययन ने चिंताजनक तथ्य सामने रखे हैं। अध्ययन के मुताबिक, खाना पकाने और गर्म करने के लिए कोयला या लकड़ी जैसे ठोस ईंधन का उपयोग करने वाली गर्भवती महिलाओं में जेस्टेशनल डायबिटीज (जीडीएम) का खतरा काफी अधिक होता है।
जीडीएम गर्भावस्था के दौरान होने वाली एक आम समस्या है, जिससे गर्भवती महिलाओं में प्रसव के दौरान कई तरह की जटिलताएं उत्पन्न हो सकती हैं। साथ ही इससे नवजात शिशुओं में मोटापे और टाइप 2 डायबिटीज का खतरा भी बढ़ जाता है।
चीन में हुए अध्ययन में चौंकाने वाले परिणाम
चीन की जुनी मेडिकल यूनिवर्सिटी के शोधकर्ताओं ने 4,338 गर्भवती महिलाओं पर अध्ययन किया। अध्ययन में पाया गया कि ठोस ईंधन का उपयोग करने वाली महिलाओं में जीडीएम का खतरा स्वच्छ ऊर्जा का उपयोग करने वाली महिलाओं की तुलना में काफी अधिक था।
अध्ययन में यह भी पाया गया कि जीडीएम से पीड़ित महिलाओं का प्रसवपूर्व बीएमआई अधिक था और उन्होंने शारीरिक गतिविधि कम की थी।
स्वस्थ जीवनशैली से कम हो सकता है खतरा
शोधकर्ताओं का कहना है कि स्वस्थ जीवनशैली अपनाने से इस खतरे को कम किया जा सकता है। उचित आहार, पर्याप्त नींद और नियमित व्यायाम करने से जीडीएम का खतरा काफी कम हो सकता है। साथ ही, सब्जियों और फलों का सेवन और विटामिन डी सप्लीमेंट लेने से भी फायदा हो सकता है।
वायु प्रदूषण का महिलाओं पर प्रभाव
यह अध्ययन एक बार फिर इस बात की ओर इशारा करता है कि वायु प्रदूषण गर्भवती महिलाओं और उनके अजन्मे बच्चों के लिए कितना खतरनाक हो सकता है। विशेष रूप से, ठोस ईंधन के उपयोग से उत्पन्न प्रदूषण गर्भवती महिलाओं और उनके बच्चों के स्वास्थ्य के लिए सबसे बड़ा खतरा है।
क्या कहते हैं विशेषज्ञ?
विशेषज्ञों का मानना है कि इस अध्ययन के परिणाम काफी चिंताजनक हैं और सरकार को इस मुद्दे पर गंभीरता से विचार करना चाहिए। सरकार को लोगों को स्वच्छ ईंधन के उपयोग के लिए प्रोत्साहित करना चाहिए और वायु प्रदूषण को कम करने के लिए कड़े कदम उठाने चाहिए।
आप क्या कर सकते हैं?
* स्वच्छ ईंधन का उपयोग करें: खाना पकाने और गर्म करने के लिए स्वच्छ ईंधन का उपयोग करें।
* घर के अंदर धूम्रपान न करें: घर के अंदर धूम्रपान करने से वायु प्रदूषण बढ़ता है।
* वायु प्रदूषण से बचाव के उपाय करें: जब वायु प्रदूषण का स्तर अधिक हो तो घर के अंदर रहें और एयर प्यूरीफायर का उपयोग करें।
* स्वस्थ जीवनशैली अपनाएं: संतुलित आहार लें, नियमित व्यायाम करें और पर्याप्त नींद लें।
वायु प्रदूषण से गर्भवती महिलाओं के लिए जीडीएम का खतरा बढ़ा
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