नई दिल्ली
JNU छात्रसंघ चुनाव में फिर चला लेफ्ट का जादू! चारों सीटों पर वाम गठबंधन का कब्जा
जेएनयू छात्रसंघ चुनाव में लेफ्ट गठबंधन ने एबीवीपी को कड़ी टक्कर देने के बावजूद चारों प्रमुख पदों पर शानदार जीत दर्ज की। अदिति मिश्रा अध्यक्ष, गोपिका उपाध्यक्ष, सुनील यादव सचिव और दानिश अली संयुक्त सचिव चुने गए। जानें वोटों का पूरा हाल।
नई दिल्ली। जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय (जेएनयू) छात्रसंघ चुनाव में एक बार फिर वाम गठबंधन का परचम लहराया है। लेफ्ट गठबंधन ने चारों प्रमुख पदों पर जीत दर्ज करते हुए अपना कब्जा बरकरार रखा है। पिछले साल गठबंधन ने तीन सीटें जीती थीं, लेकिन इस बार एबीवीपी (ABVP) को कड़ी टक्कर देने के बावजूद चारों सीटें वामपंथी छात्रों के हाथ लगी हैं।
लेफ्ट गठबंधन के प्रत्याशियों की जीत
इस बार हुए छात्रसंघ चुनाव में एबीवीपी ने वाम गठबंधन को कड़ी चुनौती दी, खासकर महासचिव पद पर मुकाबला बेहद रोमांचक रहा, लेकिन सीट हासिल नहीं कर पाई। अध्यक्ष पद पर अदिति मिश्रा ने एबीवीपी के विकास पटेल को हराया, वहीं उपाध्यक्ष पद पर गोपिका ने तान्या कुमारी को मात दी। सचिव पद पर सुनील यादव ने राजेश्वर कांत दुबे को और संयुक्त सचिव पद पर दानिश अली ने एबीवीपी के अमन को हराया। यह जीत लेफ्ट गठबंधन की जेएनयू में पकड़ को मजबूत करती है।
किसको मिले कितने वोट?
विजेता प्रत्याशियों को शानदार मत प्राप्त हुए। अध्यक्ष अदिति मिश्रा को 1937 मत मिले। उपाध्यक्ष के. गोपिका को सबसे अधिक 3101 मत मिले। सचिव सुनील यादव को 2005 और संयुक्त सचिव दानिश अली को 2083 मत प्राप्त हुए। वहीं, एबीवीपी के प्रमुख उम्मीदवारों—विकास पटेल (अध्यक्ष) को 1488 मत, तान्या कुमारी (उपाध्यक्ष) को 1787 मत, राजेश्वर कांत दुबे (सचिव) को 1901 मत और अनुज (संयुक्त सचिव) को 1797 वोट मिले।
महासचिव पद पर कांटे की टक्कर
महासचिव पद पर मुकाबला बेहद कड़ा रहा। लेफ्ट के सुनील यादव को 2005 वोट मिले, जबकि एबीवीपी के राजेश्वर कांत दुबे को 1905 मत प्राप्त हुए। सुनील यादव ने राजेश्वर कांत दुबे को मात्र 100 वोटों के अंतर से हराया। यह नजदीकी मुकाबला दर्शाता है कि जेएनयू में दोनों प्रमुख छात्र संगठनों के बीच कितना कड़ा संघर्ष है। इस बार लगभग 67 प्रतिशत छात्रों ने मतदान किया, जो पिछले चुनाव की तुलना में कम है।
