धर्म-कर्म/मेले-पर्व
धानाचूली में रामलीला मंचन का शुभारंभ, श्रद्धा और भक्ति से सराबोर रहा पहला दिन
कमेटी अध्यक्ष और बुजुर्गों ने फीता काटकर किया उद्घाटन,
हनुमान ध्वजारोहण व पूजा-अर्चना के साथ हुआ मंचन प्रारंभ
धानाचूली (नैनीताल)। नव जागृति श्री रामलीला कमेटी, धानाचूली के तत्वावधान में रविवार को 12 बजे से दिनमे रामलीला मंचन का शुभारंभ हुआ। कार्यक्रम का उद्घाटन कमेटी अध्यक्ष मयंक बिष्ट व गांव के बुजुर्गों ने फीता काटकर किया। शुभारंभ से पूर्व हनुमान ध्वजारोहण कर विधि-विधान से पूजा-अर्चना की गई। धानाचूली में कई सालों से दिन की रामलीला होती आ रही है।
पहले दिन मंच पर नटी-सूत्रधार, विष्णु-लक्ष्मी संवाद, नारद आगमन, रावण, कुम्भकर्ण व विभीषण का तप, पर्वत हिलाना, ऋषि-मुनियों से संवाद, भगवान श्रीराम जन्म जैसे अनेक मनमोहक दृश्य प्रस्तुत किए गए। कलाकारों के शानदार अभिनय ने दर्शकों को मंत्रमुग्ध कर दिया। रामलीला में पहुँचे मुख्य अतिथि खंड शिक्षा अधिकारी चक्षुष्पति ने मंच से जनता को संबोधित करते हुए कहा कि रामलीला भारतीय संस्कृति और मर्यादा का जीवंत प्रतीक है, जो समाज को एकता, सत्य और धर्म के मार्ग पर चलने की प्रेरणा देती है। उन्होंने कहा कि ऐसे आयोजन नई पीढ़ी को अपने संस्कारों और परंपराओं से जोड़ने का सशक्त माध्यम हैं।
ग्राम प्रधान धानाचूली सुश्री हंसा लोधियाल ने भी संबोधित करते हुए कहा कि रामलीला सिर्फ एक मंचन नहीं, बल्कि हमारे गांव की पहचान और सांस्कृतिक धरोहर है, जिसे हर वर्ष पूरे उत्साह और एकजुटता से मनाया जाता है। उन्होंने सभी ग्रामवासियों से सहयोग और सहभागिता की अपील की।
कमेटी अध्यक्ष मयंक बिष्ट ने अपने संबोधन में मुख्य अतिथि, ग्राम प्रधान, अतिथियों एवं उपस्थित जनसमूह का आभार व्यक्त करते हुए कहा कि रामलीला कमेटी का उद्देश्य केवल धार्मिक आयोजन नहीं, बल्कि सामुदायिक एकता, संस्कृति संरक्षण और युवाओं में सामाजिक चेतना को बढ़ावा देना है। उन्होंने कहा कि कमेटी आने वाले दिनों में भी जनहित से जुड़े कार्यों में सक्रिय भूमिका निभाती रहेगी।
इस अवसर पर कमेटी अध्यक्ष मयंक बिष्ट, ग्राम प्रधान हंसा लोधियाल, पूर्व अध्यक्ष भूपाल सिंह बिष्ट, संरक्षक खीम सिंह, धन सिंह, किशन सिंह, नारायण सिंह, नर सिंह, वन सरपंच गोपाल सिंह बिष्ट, पूरन सिंह सहित अनेक ग्रामीण उपस्थित रहे। पूरा माहौल जय श्रीराम के जयकारों से गूंज उठा।
