देहरादून
देहरादून: बजरी से लदे डंपर की चपेट में आया स्कूटर सवार छात्र, दर्दनाक मौत से क्षेत्र में मचा कोहराम
देहरादून। देहरादून के आईटी पार्क चौकी क्षेत्र के दोबची-अस्थल-मालदेवता रोड पर बुधवार दोपहर एक दर्दनाक सड़क हादसे में 12वीं कक्षा के छात्र की मौत हो गई। हादसा उस समय हुआ जब बजरी से लदा एक डंपर अनियंत्रित होकर पलट गया और स्कूटर सवार छात्र उसके नीचे आ गया। मृतक की पहचान निमिश शर्मा (18 वर्ष), निवासी कंडोली, कैनाल रोड के रूप में हुई है। हादसे के बाद मौके पर चीख-पुकार मच गई और परिजनों में कोहराम का माहौल बन गया।
राजपुर थाने के एसएसआई विनोद कुमार ने बताया कि हादसा दोबची से मालदेवता जाने वाली सड़क पर गैस प्लांट के पास हुआ, जहां सड़क का ढलान बहुत तेज है। बजरी से भरा डंपर संतुलन खो बैठा और पलटते हुए सामने से गुजर रहे स्कूटर सवार निमिश शर्मा को अपनी चपेट में ले लिया। डंपर के नीचे दबने से छात्र की मौके पर ही मौत हो गई।
हादसे के बाद डंपर चालक वाहन छोड़कर मौके से फरार हो गया। स्थानीय लोगों ने पास में काम कर रही एक क्रेन की मदद से शव को बाहर निकाला। करीब आधे घंटे की मशक्कत के बाद छात्र का लहूलुहान शव डंपर के नीचे से बरामद किया गया। घटना की सूचना पर एसडीआरएफ टीम और पुलिस मौके पर पहुंची। पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया और जांच शुरू कर दी है।
आईटी पार्क चौकी इंचार्ज अर्जुन सिंह गुसाईं ने बताया कि मृतक के परिजनों की तहरीर के आधार पर फरार चालक के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया जाएगा। उन्होंने बताया कि वाहन का खनन रवन्ना सौंग नदी से सुबह करीब 11 बजे काटा गया था, जिससे स्पष्ट है कि डंपर खनन सामग्री लेकर लौट रहा था।
इस दर्दनाक हादसे के बाद स्थानीय लोगों में भारी रोष है। गुजराड़ा मानसिंह वार्ड के पार्षद संजीत कुमार बंसल ने कहा कि क्षेत्र की सड़क संकरी है और यहां दिनभर खनन वाहनों की आवाजाही जारी रहती है। इससे आए दिन हादसे होते हैं और बच्चों को स्कूल भेजना भी जोखिम भरा हो गया है। उन्होंने मांग की कि दिन के समय भारी वाहनों की आवाजाही पर तत्काल रोक लगाई जाए।
पार्षद ने बताया कि वे इस समस्या को लेकर क्षेत्रीय लोगों के साथ जल्द ही जिलाधिकारी से मुलाकात करेंगे। वहीं, इस मामले में क्षेत्रीय विधायक उमेश शर्मा काऊ से भी वार्ता की गई है ताकि सड़क सुरक्षा और खनन वाहनों के नियंत्रण को लेकर ठोस कदम उठाए जा सकें। इस घटना ने एक बार फिर से खनन वाहनों की मनमानी और प्रशासनिक लापरवाही पर सवाल खड़े कर दिए हैं।
