सहायक नगर आयुक्त ने दर्ज कराया था मुकदमा, अब पुलिस बाकी लोगों के हटाएगी नाम
हल्द्वानी। बनभूलपुरा मामले में हल्द्वानी नगर निगम की कार्रवाई पर अब सवालिया निशान उठ रहे हैं। नगर निगम अपनी कार्रवाई के बाद से ही कठघरे में आ गया है। इतना ही नहीं नगर निगम के अधिकारियों ने उन लोगों पर ही केस दर्ज करवा दिया जो इस दुनिया से अलविदा कह चुके हैं। जबकि एक 84 वर्षिय आरोपी के इलाज के बाद दिल्ली के डॉक्टरों ने हाथ खड़े कर दिए है। अब घर पर ही उपचार चल रहा है।
बनभूलपुरा में जिस जमीन को लेकर उपद्रव हुआ। पांच लोगों की मौत हुई और 200 से ज्यादा वाहन समेत थाना फूंक दिया था। उस जमीन से जुड़ा नया मामला सामने आ गया है। नगर निगम ने छह में से चार ऐसे लोगों पर भी प्राथमिकी कराई है जिनमें तीन की मौत हो चुकी है और 84 साल का चौथा आरोपी का स्वास्थ्य बेहद खराब है। यह प्राथमिकी जमीन हड़पने समेत कई अन्य धाराओं में की गई है। इसमें तीन लोगों की मौत हो चुकी है। पुलिस विवेचना के दौरान इनके नाम हटाएगी। साफिया व अब्दुल मलिक नामजद आरोपित होंगे।
आठ फरवरी को बनभूलपुरा में जिस जमीन के लिए उपद्रव हुआ था। मामले में तीन प्राथमिकी पंजीकृत हैं। जबकि चौथी प्राथमिकी 22 फरवरी को नगर निगम के सहायक नगर आयुक्त गणेश भट्ट ने दर्ज कराया था।
इसमें अब्दुला बिल्डिंग लाइन नंबर आठ निवासी साफिया मलिक, अब्दुल मलिक, हल्द्वानी निवासी अख्तरी बेगम, नबी रजा खां, लाइन नंबर 17 आजादनगर बनभूलपुरा निवासी गौस रजा खां व बरेली निवासी अब्दुल लतीफ को धोखाधड़ी, साजिशकर्ता का आरोपित बनाया था। पुलिस ने विवेचना की। तीन अप्रैल को साफिया मलिक को बरेली से गिरफ्तार किया। विवेचना में पता चला है कि आरोपित बनाए गए नबी रजा खां, अख्तरी बेग व अब्दुल लतीफ की पहले ही मौत हो चुकी है। चौथे आरोपित 84 वर्षीय गौस रजा का दिल्ली में उपचार चल रहा था।
दिल्ली में कई दिनों तक वेंटीलेटर पर रहने के बाद डॉक्टरों ने हाथ खड़े कर दिए। 84 सल के गौस रजा अब होम डायलिसिस पर हैं और घर पर बिस्तर पर जीवन की अंतिम सांसे गिन रहे हैं। कोतवाल उमेश मलिक ने बताया कि जांच अब साफिया व मलिक के बीच रह गई है। जल्द चार्जशीट कोर्ट में पेश की जाएगी।
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